History of Computer in Hindi – कम्प्यूटर का इतिहास

 

Brief History of Development of Computers

 

कम्प्यूटर के विकास का इतिहास लकड़ी के एबैकस से शुरू होकर वर्तमान समय में उपयोग होने वाले उच्च गति के माइक्रोप्रोसेसर तथा आर्टिफिशियल इन्टेलीजेन्स तक एक लम्बी यात्रा का प्रदर्शन करता है –

Abacus (एबैकस)- गिनतारा- 1602

Abacus

एबैकस एक मैथमैटिकल डिवाइस है जिसका प्रयोग प्राचीन समय में गणना करने के लिए किया जाता था।

इसका अविष्कार सन् 1602 में चीन में किया गया था। सामान्यत: इसके द्वारा Arithmetic Calculation (अंकिक गणना) की जाती है।

वर्तमान में भी काफी लोकप्रिय है जिसका प्रयोग छोटे बच्चों को mathematical calculation सीखाने के लिए किया जाता है।

इसमें एक फ्रेम में धातु के बने,पतले रॉड या तार होते हैं जिसमें मोतियॉं (beds) लगी होती हैं जिनको अगल-बगल सरका कर गणना की जाती है।

एबैकस द्वारा- जोड़, घटाव, गुणा, भाग, वर्गमूल आदि ज्ञात किया जाता है।

एबैकस को Counting Machine अथवा Counting Frame के नाम से भी जाना जाता है।

पास्कल कैलकुलेटर या पास्कलाइन -1645

पास्कलाइन प्रथम मैकेनिकल एडिंग मशीन (प्रथम मैकेनिकल गणना करने वाली मशीन) थी, जिसका निर्माण फ्रांस के गणितज्ञ ब्लेज पास्कल द्वारा सन् 1642 में किया गया था, इसी कारण इसे पास्कल केलकुलेटर कहते हैं। पर पब्लिकली इसे 1645 में लांच किया गया।

यह प्रथम मैकेनिकल कैलकुलेटर था जो केवल जोड़, घटाव व गिनती करने में सक्षम था] यही वजह है कि इसे एैडिंग मशीन भी कहते हैं। इस कैलकुलेटर में 0 से 9 तक के अंक होते थे जो कि इंटरलॉकिंग गियर्स की मदद से प्रदर्शित किए जाते थे। और यह ओडोमीटर के सिद्धान्त पर कार्य करता है।

Automatic Weaving loom (स्वचालित बुनाई मशीन) – 1801

1801 में जोसेफ मैरी जैक्वार्ड ने एक स्वचालित (ऑटोमैटिक) बुनाई मशीन का अविष्कार किया था, जिसमें पंच कार्ड का प्रयोग सूचनाओं को read करने व कपड़े की बुनाई को नियंत्रित करने के लिए किया गया था।

Stepped Reckoner or Leibnitz Wheel – Calculator for Multiplication – 1671

चूँकि उस समय पास्कल कैल्कुलेटर केवल जोड़ व घटाव operation ही perform करने में सक्षम था इसीलिए 1671 में जर्मनी के गणितज्ञ बेरॉन गॉटफ्रिड विलहेम वॉन लेबनीज ने पहली गुणा कर सकने वाले कैल्कुलेटर का अविष्कार किया, जिसे स्टेप्ड रेकॉनर (stepped reckoner) कहा गया।

यह Pascal calculator  का improved version था जो कि गुणा (multiplication) करने में सक्षम था।

डिफरेंस इंजन (Difference Engine) – 1820

डिफरेंस इंजन का आविष्कार सन् 1820 एक अंग्रेज मैथमैटीशिन व आविष्कारक चार्ल्स बैबेज द्वारा किया गया, जो एक मैथमेटिकल टेबल में गणितीय व सांख्यिकीय गणना बिल्कुल विश्वसनीय व त्रुटि रहित तरीके से करने में सक्षम था।

चार्ल्स बैबेज को आधुनिक डिजिटल कंप्यूटर का जनक (father of modern digital computer) माना जाता है क्योंकि उनके सिद्धांतों (principles) का प्रयोग करके पहले अंकीय कंप्यूटर का ब्लूप्रिंट व प्रोटोटाइप का निर्माण किया गया और आज भी उन्हीं के सिद्धांत ही किसी भी डिजिटल कंप्यूटर की डिजाइन व निर्माण के लिए आधार होते हैं।

एनालिटिकल इंजन (Analytical Engine) – 1842

1830 में चार्ल्स बैबेज ने एक नई मशीन बनाने की योजना बनाई, जो की पूर्णत: ऑटोमैटिक हो, और 1842 में  एक नयी मशीन एनालिटिकल इंजन का आविष्कार किया, जो कि डिफरेंस इंजन का एडवांस और ऑटोमैटिक वर्जन थी। यह किसी भी तरह के मैथमैटिकल कैलकुलेशन को परफॉर्म करने में सक्षम थी और पूर्णत: ऑटोमैटिक व त्रुटिरहित थी, जिससे समय की काफी बचत होती थी।

इसकी क्षमता लगभग 60 addition per minute थी।

टेबुलेटिंग मशीन व पंच कार्ड (Tabulating Machine and Punch Card) – 1890

सन् 1890 में हर्मन हॉलरिथ (Herman Hollerith) ने एक tabulating machine व पंच कार्ड का निर्माण किया।

पंच कार्ड का प्रयोग data व  information को input देने व संग्रहित करने के लिए हुआ और टेबुलेटिंग मशीन इस पंच कार्ड से data को इनपुट के रूप में ग्रहण कर एक टेबुलर फार्मेट (सारणीबद्ध) में परिवर्तित कर, कई तरह के operations जैसे कि – sorting, calculation आदि perform करने की इजाजत देती थी।

यह मशीन data व information को सारणीबद्ध तरीके से प्रदर्शित करने में सक्षम थी जिसका प्रयोग US Bureau of Census में किया गया था। इसीलिए इस मशीन को सेन्सस टेबुलेटर भी कहते हैं।

इनपुट डिवाइस क्या है?

ENIAC एनिअक [First electronic Computer] – 1946

(Electronic Numerical Integrated and Calculator)

एनिअक दुनिया का सबसे पहला, बृहद रूप से, सामान्य उद्देश्यीय, पूर्णत: इलेक्ट्रानिक कम्प्यूटर था। जिसका निर्माण सन् 1946 में पेनसिल्वेनिया यूनिवर्सिटी (Pennsylvania University) के प्रोफेसर जे. प्रेस्पर एकर्ट और जॉन मौशली (J. Presper Eckert and John Mauchly) के निर्देशन में वैज्ञानिकों की एक टीम ने किया था।

ENIAC Computer की विशेषताएँ – Characteristics of ENIAC Computer in Hindi

एनिअक कम्प्यूटर की विशेषताएँ निम्नलिखित हैं –

  1. इस कंप्यूटर में 18000 वेक्यूम ट्यूब का उपयोग किया गया था।
  2. ENIAC दो अंको के जोड़ (addition) को परफॉर्म करने के लिए 200 माइक्रोसेकंड (0.0002 second) व 2 अंकों के गुणा (multiplication) करने में 2,000 माइक्रोसेकंड (0.002 second) लेता था।
  3. आकार – लगभग 20×40 वर्ग फीट
  4. वजन – लगभग 30 टन यानी कि तीस हजार किलोग्राम।
  5. उपयोग  – सामान्यतः ENIAC का निर्माण ही अमेरिकन मिलिट्री (अमेरिकन सेना) के लिए विकसित किया गया था जिसका भारी मात्रा में द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान उपयोग किया गया।
  6. यह एक पूर्णरूपेण प्रथम इलेक्ट्रॉनिक कंप्यूटर था।

Stored Program Concept (स्टोर्ड प्रोग्राम की अवधारणा)

स्टोर्ड प्रोग्राम की अवधारणा का प्रतिपादन  जॉन वॉन न्यूमैन (Dr. John Von Neumann) ने सन् 1945 में किया।

यह अवधारणा यह बताती है कि प्रोसेसिंग के दौरान उपयोग होने वाले data व इन data पर परफॉर्म होने वाले ऑपरेशन्स के निर्देश (ऑपरेशनल इंस्ट्रक्शन्स) एक क्रम से उसी computer की memory में store (संग्रहित) होने चाहिए, जो की प्रोसेसिंग के कार्य को संपन्न कर रहा है। ताकि data पर परफॉर्म किए जाने वाले operations लगातार एक क्रम से, बिना रुके ऑटोमेटिकली परफॉर्म हो सकें। जैसा कि आज के कंप्यूटर में होता है जिस भी डेटा को प्रोसेस करवाना होता है वह data और उस data पर परफॉर्म किए जाने वाले निर्देशों का क्रम उसी कंप्यूटर की मेमोरी – हार्ड डिस्क, रैम,व कैश मेमोरी में लोड हो जाता है।

ताकि execution के समय processor द्वारा चाहे गए data व निर्देश तुरंत उसे प्राप्त हो जाए और बिना किसी रूकावट (error) के आउटपुट प्राप्त किया जा सके।

चूँकि Stored Program Concept आज के भी कंप्यूटर में उपयोग हो रहा है इसी कारण वर्तमान समय में प्रयोग होने वाले कंप्यूटर को स्टोर्ड प्रोग्राम डिजिटल कंप्यूटर भी कहते हैं। और इस तरह डेटा व निर्देश को बायनरी (0 व 1) के रूप में उसी कंप्यूटर की मेमोरी में संग्रहित किया जाने लगा।


EDVAC – एडवैक (1946-1952)

Electronic Discrete Variable Automatic Computer

अमेरिका द्वारा विकसित प्रथम computer जिसमें जॉन वॉन न्यमैन द्वारा विकसित स्टोर्ड प्रोग्राम की अवधारणा का प्रयोग किया गया था। यह कम्प्यूटर data व निर्देशों को बाइनरी (0,1) form में स्टोर करने में सक्षम था।

EDSAC – एडजैक (1946-1952)

एडजैक का पूरा नाम Electronic Delay Storage Automatic Calculator है।

इसका निर्माण- केम्ब्रिज यूनिवर्सिटी के प्रो. मौरिस विल्केस (Professor Maurice Wilkes) के दिशा-निर्देश में वैज्ञानिकों के एक समूह द्वारा किया गया था।

यह ब्रिटिश वैज्ञानिकों द्वारा विकसित प्रथम computer था, जिसमें जॉन वॉन न्यमैन द्वारा विकसित स्टोर्ड प्रोग्राम की अवधारणा का प्रयोग किया गया था।

यह कम्प्यूटर processing में प्रयोग होने वाले  data व instructions के क्रम को  store करने में कुशल था।

The UNIVAC – I (1951) यूनिवैक प्रथम

UNIVAC का पूरा नाम Universal Automatic Computer है।

यूनिवैक प्रथम का निर्माण रेमिंग्टन रेण्‍ड (Remington Rand) द्वारा किया गया था जिसे सर्वप्रथम U.S. के  census Bureau (सेन्सस ब्यूरो) को प्रदान किया गया।

यह प्रथम ऐसा डिजिटल कम्प्यूटर था जिसका प्रयोग व्ययसायिक कार्यों में किया गया, और जो कई तरह के कार्यों को कर सकने में सक्षम था।

UNIVAC के कई सारे संस्करण बनाए गए, जिसमें UNIVAC – I जो कि रेमिंग्टन रेण्‍ड विकसित किया गया U.S. के census Bureau (सेन्सस ब्यूरो) में स्थापित किया गया।

इसके बाद लगातार सुधार की प्रक्रिया जारी रखकर ऐसे कंप्यूटर को विकसित करने की जिद हुई जिनका प्रयोग – व्यापार, वैज्ञानिक अनुसंधान, शिक्षा, चिकित्सा, बैंकिंग, रक्षा, संचार, प्रकाशन, मनोरंजन, प्रशासन, रेलवे एवं एयर रिजर्वेशन आदि क्षेत्रों में सरलता व सुविधापूर्वक किया जा सके। और आज के समय में हम पाते हैं कि यह सब संभव हो चुका है, सभी क्षेत्रों में कंप्यूटर की भूमिका अतुलनीय और अहम है।


 Important Point

कम्प्यूटर के जनक (father of computer) – Charles Babbage – चार्ल्स बैबेज।

 

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